NOT KNOWN FACTS ABOUT HANUMAN CHALISA

Not known Facts About hanuman chalisa

Not known Facts About hanuman chalisa

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दिल्ली की मुख्यमंत्री आतिशी ने प्राचीन हनुमान मंदिर में पूजा किया

“Pains will likely be taken out, all afflictions will likely be gone of who remembers Hanuman the mighty courageous 1.”

व्याख्या – श्री हनुमान जी को जन्म से ही आठों सिद्धियाँ प्राप्त थीं। वे जितना ऊँचा चाहें उड़ सकते थे, जितना छोटा या बड़ा शरीर बनाना चाहें बना सकते थे तथा मनुष्य रूप अथवा वानर रूप धारण करने की उनमें क्षमता थी।

Upon arriving, he identified that there were a lot of herbs alongside the mountainside, and did not desire to consider the incorrect herb back. So rather, he grew to the size of the mountain, ripped the mountain with the Earth, and flew it back again for the fight.

— Mahatma Gandhi Image the most powerful gentleman on this planet hurrying via palace corridors, arms laden with books. This was no imagined scene, but instead a true minute in the life of Roman Emperor

सुमिर चित्रगुप्त ईश को, सतत नवाऊ शीश। ब्रह्मा विष्णु महेश सह, रिनिहा भए जगदीश॥

. शिव चालीसा लिरिक्स के सरल शब्दों से भगवान शिव को आसानी से प्रसन्न होते हैं

Ravana burns Hanuman's tail. The curse lifted; Hanuman now remembers all of his dynamic divine powers. He is alleged to acquire transformed in the dimension of mountain and flew through the narrow channel to more info Lanka. On landing, he discovers a city populated with the Lanka king Ravana and his demon followers, so he shrinks all the way down to the dimensions of the ant and sneaks into the city.

The Mexican acoustic-metal duo, Rodrigo Y Gabriela unveiled a hit solitary named "Hanuman" from their album eleven:11. Every track within the album was created to pay tribute to another musician that influenced the band, as well as the tune Hanuman is dedicated to Carlos Santana.

भावार्थ – आपके परम मन्त्र (परामर्श) को विभीषण ने ग्रहण किया। इसके कारण वे लंका के राजा बन गये। इस बात को सारा संसार जानता है।

व्याख्या – श्री हनुमान जी से अष्टसिद्धि और नवनिधि के अतिरिक्त मोक्ष या भक्ति भी प्राप्त की जा सकती है। इस कारण इस मानव जीवन की अल्पायु में बहुत जगह न भटकने की बात कही गयी है। ऐसा दिशा–निर्देश किया गया है जहाँ से चारों पुरुषार्थ (धर्म, अर्थ, काम और मोक्ष) प्राप्त किये जा सकते हैं।

व्याख्या – संसार में मनुष्य के लिये चार पुरुषार्थ हैं – धर्म, अर्थ, काम और मोक्ष। भगवान के दरबार में बड़ी भीड़ न हो इसके लिये भक्तों के तीन पुरुषार्थ को हनुमान जी द्वार पर ही पूरा कर देते हैं। अन्तिम पुरुषार्थ मोक्ष की प्राप्ति के अधिकारी श्री हनुमन्तलाल जी की अनुमति से भगवान के सान्निध्य पाते हैं।

विदेशी गायक श्री कृष्णा दास की आवाज मे हनुमान चालीसा

भावार्थ – आप अपने स्वामी श्री रामचन्द्र जी की मुद्रिका [अँगूठी] को मुख में रखकर [सौ योजन विस्तृत] महासमुद्र को लाँघ गये थे। [आपकी अपार महिमा को देखते हुए] इसमें आश्चर्य की कोई बात नहीं है।

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